DC circuit and AC Circuit difference in hindi |
डीसी सर्किट क्या होती है? (DC Circuit):— एक डीसी सर्किट में निम्नलिखित गुण होते है।
(i) डीसी सर्किट में राशियों का बिजगणितीय योग किया जाता है।
(ii) डीसी सर्किट सदैव प्रतिरोधी सर्किट (pure resistive) की भांति व्यवहार करता है।
(iii) डीसी सर्किट में पावर फैक्टर (power factor) सदैव इकाई (unity) होता है।
(iv) यदि डीसी में किसी क्वायल में से धारा प्रवाहित हो रही हो तो धारा का विरोध केवल प्रतिरोध (resistance) के द्वारा किया जाता है। अर्थात क्वायल में धारा का विरोध केवल R द्वारा होता है।
(v) डीसी परिपथ में सदैव वास्तविक शक्ति (active power) ही होता है।
(vi) डीसी की क्वायल को एसी पर चला सकते हैं यह क्वायल जलेगी नहीं बल्कि थोड़ा कम दक्षता के साथ काम करेगी।
एसी सर्किट क्या होती है? (AC Circuit):— एक एसी सर्किट में निम्नलिखित गुण होते है।
(i) एसी सर्किट में राशियों का वेक्टर योग, फेजर योग या सदिश योग किया जाता है।
(ii) एसी सर्किट में रेजिस्टिव (resistive), इंडक्टिव (inductive) और कैपेसिटीव (capacitive) सर्किट आते हैं। (pure inductive and pure capacitive)
(iii) एसी सर्किट का पावर फैक्टर शून्य (zero), इकाई (unity), लैगिंग (lagging) और लीडिंग (leading) कुछ भी हो सकता है।
(iv) एसी सर्किट में क्वायल में धारा का विरोध रेजिस्टेंस (resistance) और इंडक्टिव रिएक्टेंस (inductive reactance) दोनों मिलकर करते हैं। क्वायल में धारा का विरोध R + XL इसलिए एसी की क्वायल को डीसी पर नहीं लगा सकते क्योंकि वह उच्च करंट (high current) लेगी और जल जाएगी।
(v) एसी सर्किट में एक्टिव पावर (active power), रिएक्टिव पावर (reactive power) तथा अपेरेंट पावर (aperent power) तीनों होता है।
एसी सर्किट के लाभ (Advantage Of AC Circuit):— एक एसी सर्किट के निम्नलिखित लाभ होते है जिनका विवरण नीचे विस्तार पूर्वक दिया गया है।
(i) एसी का कम मूल्य पर ट्रांसमिशन (transmission) किया जा सकता है, डीसी का भी ट्रांसमिशन होता है लेकिन डीसी का ट्रांसमिशन महंगा पड़ता है।
(ii) एसी का हाई वोल्टेज लेवल (high voltage level) तक उत्पादन आसान होता है तथा एसी को सरलता से डीसी में बदला जा सकता है।
(iii) एसी को स्टेप–अप और स्टेप–डाउन बहुत कम खर्चे पर किया जा सकता है। डीसी में वोल्टेज स्टेप अप करने के लिए बूस्टर (booster) तथा स्टेप डाउन करने के लिए रजिस्टर (resistor) लगाते हैं जो कि महंगा पड़ता है।
एसी सर्किट की हानियां (Disadvantage Of AC Circuit):— एक एसी सर्किट में निम्नलिखित हानियां होती है, एसी सर्किट की हानियों के बारे में नीचे विस्तार पूर्वक जानकारी दी गई है।
(i) जब उच्च वोल्टेज (high voltage) पर जनरेशन और ट्रांसमिशन करते हैं तो चालकों में डाइलेक्ट्रिक स्ट्रैंथ (dielectric strength) भी उच्च होना चाहिए।
(ii) एसी का मैग्नेटिक फील्ड डीसी के इतना अच्छा या मजबूत नहीं होता है, एसी का मैग्नेटिक फील्ड (magnetic field) सीमित होता है।
(iii) एसी की दक्षता कम होती है।
(iv) अनेक कार्य ऐसे होते हैं जो एसी से नहीं किया जा सकता है उसके लिए हमें डीसी की आवश्यकता होती है, जैसे बैटरी चार्जिंग और इलेक्ट्रोप्लेटिंग इत्यादि। इसलिए हमें एसी के साथ–साथ डीसी की भी आवश्यकता होती है।
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महत्वपूर्ण परीक्षा उपयोगी प्रश्न और उत्तर:—
प्रश्न:— बैटरी चार्जिंग के लिए किस सप्लाई का उपयोग किया जाता है?
(A) एसी सप्लाई
(B) डीसी सप्लाई
(C) या तो एसी या तो डीसी
(D) इनमे से कोई नहीं
उत्तर:— B
प्रश्न:— डीसी सर्किट का पावर फैक्टर क्या होता है?
(A) लैगिंग
(B) लीडिंग
(C) A और B दोनो
(D) इकाई
उत्तर:— D
प्रश्न:— डीसी में वोल्टेज स्टेप अप करने के लिए किसका प्रयोग किया जाता है?
(A) बूस्टर का
(B) प्रतिरोध का
(C) रिले का
(D) ट्रांजिस्टर का
उत्तर:— A
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